“Raidas Ke Pad ,” Explanation of The 6th Chapter Of The Class 9 Hindi Book “Sprash,” Written By Raidas Chamar Ji . Making It An Essential Read For Class 9 Students. In This Article, We Provide A Detailed Explanation Of Raidas Ke Pad .
पुस्तक: | स्पर्श |
कक्षा: | 9 |
पाठ: | 6 |
शीर्षक: | पद |
लेखक: | रैदास चमार |
Raidas Ke Pad Class 9 Explanation Hindi
(1)
अब कैसे छूटै राम नाम रट लागी।
प्रभु जी. तुम चंदन हम पानी, जाकी अँग अँग बास समानी।
प्रभु जी, तुम घन बन हम मोरा, जैसे चितवत चंद चकोरा।
प्रभु जी, तुम दीपक हम बाती, जाकी जोति बरै दिन राती।
प्रभु जी, तुम मोती हम धागा, जैसे सोनहिं मिलत सुहागा।
प्रभु जी, तुम स्वामी हम दासा, ऐसी भक्ति करै रैदासा।।
व्याख्या:
कवि रविदास इस भक्ति गीत में भगवान राम के प्रति अपनी गहरी भक्ति और समर्पण को विभिन्न उपमाओं के माध्यम से व्यक्त करते हैं। उन्होंने भगवान राम को चंदन के समान बताया है और स्वयं को पानी के रूप में प्रस्तुत किया है। यहाँ पर पानी चंदन की सुगंध को बनाए रखने का कार्य करता है, जो यह दर्शाता है कि कवि का भक्ति भाव भगवान के प्रति अटूट और समर्पित है। इसी प्रकार, भगवान राम को बादल के रूप में चित्रित किया गया है, और कवि खुद को चकोरा मानते हैं जो बादल की प्रतीक्षा करता है। इस उपमा से यह भाव व्यक्त होता है कि कवि भगवान राम के दर्शन और कृपा की प्रतीक्षा में हैं।
कवि ने दीपक और बाती की उपमा का भी प्रयोग किया है। भगवान राम को दीपक की तरह वर्णित किया गया है, जो दिन-रात की स्थिर और अनंत ज्योति प्रदान करता है, और कवि खुद को बाती मानते हैं, जो इस ज्योति को समर्पित है। इसके साथ ही, मोती और धागा की उपमा का उपयोग कर, कवि ने भगवान राम को मोती के रूप में प्रस्तुत किया है और खुद को धागा के रूप में, जो मोती को जोड़ता है। इस तरह, कवि भगवान के प्रति अपने समर्पण और भक्ति की गहराई को इन उपमाओं के माध्यम से व्यक्त करते हैं।
(2)
ऐसी लाल तुझ बिनु कउनु करें।
गरीब निवाजु गुसईआ मेरा माथै छत्रु धेरै ।।
जाकी छोति जगत कउ लागै ता पर तुही दरै।
नीचहु ऊच करै मेरा गोबिंदु काहू ते न डरै।।
नामदेव कबीरु तिलोचनु सधना सैनु तरै।
कहि रविदासु सुनहु रे संतहु हरिजीउ ते सधै सरें
व्याख्या:
इस भाग में, कवि भगवान की दिव्य सहायता और भक्ति की महत्वपूर्णता को स्पष्ट करते हैं। वे बताते हैं कि भगवान के बिना, कोई भी व्यक्ति सच्ची सहायता या समर्थन प्राप्त नहीं कर सकता। भगवान ही एकमात्र ऐसे स्रोत हैं जो सच्चा संरक्षण और समर्थन प्रदान कर सकते हैं। उनके अनुसार, भगवान की कृपा सभी के लिए समान रूप से उपलब्ध है, चाहे व्यक्ति उच्च जाति का हो या निम्न जाति का। इस प्रकार, कवि भगवान के प्रति सभी जातियों के लिए समान और बिना भेदभाव के समर्थन की पुष्टि करते हैं।
कवि यह भी उल्लेख करते हैं कि प्रसिद्ध भक्त जैसे नामदेव, कबीर, तिलोचन, और साधना ने अपनी भक्ति के माध्यम से मोक्ष प्राप्त किया। इन भक्तों के उदाहरण दर्शाते हैं कि भक्ति और ईश्वर के प्रति समर्पण के माध्यम से आत्मा को उद्धार मिल सकता है। इस तरह, कवि भक्ति की शक्ति और भगवान की समान कृपा के महत्व को दर्शाते हैं, यह पुष्टि करते हुए कि सच्ची भक्ति से मोक्ष प्राप्त किया जा सकता है।
रविदास के पद का सारांश
कवि रविदास के पद में भगवान राम के प्रति उनकी गहरी भक्ति और समर्पण को विभिन्न उपमाओं के माध्यम से व्यक्त किया गया है। वे भगवान राम को चंदन, बादल, दीपक, और मोती के रूप में चित्रित करते हैं, जबकि स्वयं को पानी, चकोरा, बाती, और धागा के रूप में प्रस्तुत करते हैं। इन उपमाओं से कवि ने अपने भक्ति भाव की गहराई और भगवान के प्रति पूर्ण समर्पण को दर्शाया है।
इसके अलावा, कवि भगवान की दिव्य सहायता और भक्ति के महत्व पर भी जोर देते हैं। वे बताते हैं कि भगवान ही सच्चा समर्थन और सुरक्षा प्रदान करते हैं, और उनकी कृपा सभी के लिए समान रूप से उपलब्ध है। प्रसिद्ध भक्तों जैसे नामदेव, कबीर, और तिलोचन ने अपनी भक्ति के माध्यम से मोक्ष प्राप्त किया, जो यह दर्शाता है कि सच्ची भक्ति से आत्मा को उद्धार मिल सकता है।
Last Paragraph: I Hope Your Issue With The Explanation For Class 9 Hindi ‘Sprash Chapter 6 Raidas Ke Pad ‘ Has Been Resolved. Thank You For Visiting Our Site, And We Wish You Success In Your Studies.